आम आदमी पार्टी (आप) पंजाब के वरिष्ठ प्रवक्ता नील गर्ग ने केंद्र की भाजपा सरकार पर तीखा हमला बोलते हुए कहा है कि वह भाखड़ा ब्यास प्रबंधन बोर्ड (BBMB) में हिमाचल प्रदेश और राजस्थान को स्थायी सदस्यता देने की योजना बना रही है, जो पंजाब के साथ स्पष्ट भेदभाव है। नील गर्ग ने कहा कि यह कदम राज्य के संवैधानिक अधिकारों का हनन है और केंद्र पंजाब को उसके जल संबंधी अधिकारों से वंचित करने की कोशिश कर रही है।
भाजपा नेताओं की चुप्पी पर उठे सवाल
आप प्रवक्ता ने भाजपा नेताओं पर चुप्पी साधने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि केंद्रीय मंत्री रवनीत सिंह बिट्टू और पंजाब भाजपा अध्यक्ष अश्विनी शर्मा अक्सर पंजाब सरकार की आलोचना करते हैं, लेकिन इस गंभीर मुद्दे पर मौन साधे हुए हैं। नील गर्ग ने कहा, “जब केंद्र सरकार पंजाब के अधिकारों पर कुठाराघात कर रही है, तब भाजपा नेता किसके दबाव में चुप हैं?”
“बीबीएमबी में पंजाब का अधिकार सुरक्षित रहना चाहिए”
गर्ग ने कहा कि बीबीएमबी का गठन पंजाब की मेहनत और योगदान से हुआ था, और अब केंद्र इसे कमजोर करने की साज़िश कर रहा है। उन्होंने बताया कि केंद्र ने अपने पत्र में हिमाचल और राजस्थान को स्थायी सदस्य बनाने का प्रस्ताव दिया है, जो पंजाब के हितों और हिस्सेदारी पर चोट है।
सुनील जाखड़ से आप की अपील – पंजाब के पक्ष में खड़े हों
नील गर्ग ने पंजाब भाजपा अध्यक्ष सुनील जाखड़ से आग्रह किया कि वह केंद्र सरकार के सामने पंजाब की आवाज़ उठाएं और इस अन्यायपूर्ण प्रस्ताव का विरोध करें। उन्होंने कहा कि पंजाब के हितों की रक्षा के लिए राजनीतिक दलों को एक मंच पर आना चाहिए, क्योंकि यह केवल एक राज्य का नहीं बल्कि हर पंजाबी के आत्मसम्मान का सवाल है।
“भाजपा का रवैया शुरू से ही पंजाब विरोधी”
आप प्रवक्ता ने कहा कि भाजपा की नीति शुरू से ही पंजाब विरोधी रही है। उन्होंने कहा कि जब पंजाब बाढ़ जैसी आपदा से जूझ रहा था, तब भी भाजपा नेताओं ने केंद्र पर राज्य को पूरा मुआवज़ा दिलाने का दबाव नहीं बनाया। यह दर्शाता है कि भाजपा को पंजाब की जनता के हितों से कोई लेना-देना नहीं है।
केंद्र से लंबित ग्रांट जारी करने की मांग
गर्ग ने कहा कि केंद्र सरकार को पंजाब के सभी लंबित अनुदान और सहायता राशि तुरंत जारी करनी चाहिए। उन्होंने कहा, “अब वक्त पंजाब के हक़ की लड़ाई का है। केंद्र को सहयोगी भूमिका निभानी चाहिए, न कि अपने राजनीतिक एजेंडे के लिए राज्य के अधिकारों को कुचलना चाहिए।”